Kark Raashi Walon Ko Kiski Pooja Karni Chahiye

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परिचय – कर्क राशि

सभी 12 राशियों की संख्या में चौथी राशि कर्क है. कर्क राशि का स्वामी चंद्रमा होता है और इष्ट देवी माता गौरी हैं. कर्क राशि का चिन्ह ‘केकड़ा’ होता है, इसीलिए इस राशि के जातक बहुत भावुक और चंचल स्वभाव के होते हैं. ये बहुत जिद्दी होते हैं. इनके कंधों पर पारिवारिक और सामाजिक कार्यों की जिम्मेदारी होती है. ये बहुत संघर्षमय जीवन जीते हैं. अगर आपकी राशि कर्क है और आप किसी समस्या से जूझ रहे हैं, काफी परिश्रम करने के बाद भी सफलता हाथ नहीं लग रही है तो आप स्वयं अपनी राशि के अनुसार पूजा-पाठ व उपाय कर परेशानी से छुटकारा पा सकते हैं. आइए जानते हैं कर्क राशि के जातकों को किसकी पूजा करनी चाहिए?, कौन सा व्रत करना चाहिए, किस मंत्र का जाप करना चाहिए, क्या दान करना चाहिए व कौन से उपाय करने चाहिए ताकि उन्हें शुभ और मनचाहा फल प्राप्त हो सके-

कर्क राशि वालों को किसकी पूजा करनी चाहिए?

कर्क राशि वालों को किसकी पूजा करनी चाहिए?, Kark Raashi Walon Ko Kiski Pooja Karni Chahiye?
कर्क राशि की इष्ट देवी माता गौरी हैं. मां पार्वती शांति और दया की देवी हैं, इसलिए कर्क राशि के जातकों को अपने राशि की ईष्ट देवी माता गौरी की विधिवत् पूजा करनी चाहिए. इष्ट देव की विधिवत पूजा करने से ये फायदा होता कि कुंडली में चाहे कितने भी ग्रह दोष क्यों न हों, अगर इष्ट देव प्रसन्न हैं तो यह सभी दोष व्यक्ति को अधिक कष्ट नहीं देते. यहां जानिए माता गौरी की पूजा विधि-
गौरी पूजन विधि – गौरी पूजन के लिए सुबह जल्दी उठकर स्नान आदि कर लें. अब पूजा के स्थान पर मां गौरी की मूर्ति या तस्वीर स्थापित करें. मां गौरी पूजन में सबसे पहले गणपति महाराज का पूजन करें. गणेश जी को सबसे पहले गंगाजल से स्नान कराएं. पंचामृत से फिर दोबारा गंगाजल से स्नान कराकर साफ कपड़े से पोछकर उन्हें आसन पर रखें. इसके बाद मां गौरी को आपके घर आने और आसन पर विराजमान होने के लिए उनका आवाहन करें. इसके बाद मां को सफेद या लाल रंग के वस्त्र अर्पित करें. लाल रंग शुभ माना जाता है. वहीं मान्यताओं के मुताबिक, सफेद रंग मां गौरी को बेहद पसंद हैं. वस्त्र अर्पित करने के बाद देवी मूर्ति को कुमकुम, रोली लगाएं और पुष्प अर्पित करें. उन्हें धूप-दीप दिखाएं और व दक्षिणा चढ़ाएं. इसके बाद माता महागौरी को पांच तरह के मिष्ठान और फल का भोग लगाएं. ध्यान रखें कि इस पूजन में षोडशोपचार में माता को सुहाग की सामग्री अर्पित करें. ध्‍यान रखें कि इनकी संख्‍या 16 होनी चाहिए. इसमें फल, फूल, माला, मिठाई और सुहाग की वस्‍तुओं को शामिल करें. संख्‍या लेकिन 16 ही हो. पूजन के समय ॐ गौर्ये नम: व ॐ पार्वत्यै नम: मंत्र का जाप करें. पूजन समाप्ति के बाद आरती पढ़ें. मां से अपनी मनोकामना पूर्ति का अनुनय-विनय करें.

कर्क राशि वालों को कौन सा व्रत करना चाहिए

कर्क राशि वालों को कौन सा व्रत करना चाहिए, Kark Rashi Vaalon Ko Kaun Sa Vrat Karna Chahiye
कर्क राशि के जातकों को सोमवार का व्रत करना चाहिए. शास्त्रों के अनुसार अगर कर्क राशि के लोग सोमवार व्रत करे तो उनकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होंगी, परीक्षा में सफलता मिलेगी, व्यवसाय में लाभ होगा और घर में सुख-समृद्धि आएगी. सोमवार का व्रत भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिये किया जाता है. आम तौर पर सोमवार का व्रत तीसरे पहर तक होता है यानि कि शाम तक ही सोमवार का व्रत रखा जाता है. जानिए सोमवार व्रत के बारे में-
कब से शुरू करें सोमवार व्रत – सोमवार व्रत को श्रावण, चैत्र, मार्गशीर्ष और वैशाख मास के शुक्ल पक्ष के पहले सोमवार से किया जाता हैं. ज्योतिषाचार्यों के अनुसार, इस व्रत को आप सावन के पहले सोमवार से भी शुरू कर सकते हैं.
कितने सोमवार व्रत करना चाहिए – भगवान शिव जी की कृपा दिलाने वाले व्रत को कम से कम 7 या 16 सोमवार तक जरूर रखना चाहिए.
सोमवार व्रत की विधि- सोमवार का व्रत करने के लिए सोमवार के दिन को ब्रह्म मुहूर्त में सोकर उठें. पूरे घर की सफाई कर स्नानादि से निवृत्त हो जाएं. गंगा जल या पवित्र जल पूरे घर में छिड़कें. घर में ही किसी पवित्र स्थान पर भगवान शिव के साथ माता पार्वती की मूर्ति या चित्र स्थापित करें. पूरी पूजन तैयारी के बाद निम्न मंत्र से संकल्प लें – मम क्षेमस्थैर्यविजयारोग्यैश्वर्याभिवृद्धयर्थं सोमवार व्रतं करिष्ये॥. इसके पश्चात निम्न मंत्र से ध्यान करें –
ध्यायेन्नित्यंमहेशं रजतगिरिनिभं चारुचंद्रावतंसं रत्नाकल्पोज्ज्वलांग परशुमृगवराभीतिहस्तं प्रसन्नम्‌.
पद्मासीनं समंतात्स्तुतममरगणैर्व्याघ्रकृत्तिं वसानं विश्वाद्यं विश्ववंद्यं निखिलभयहरं पंचवक्त्रं त्रिनेत्रम्‌॥
ध्यान के पश्चात ॐ नमः शिवाय से शिवजी का तथा ॐ नमः शिवाय से पार्वतीजी का षोडशोपचार पूजन करें. पूजन के पश्चात व्रत कथा सुनें. तत्पश्चात आरती कर प्रसाद वितरण करें. इसके बाद भोजन या फलाहार ग्रहण करें. इस व्रत में व्रती को दिन में केवल एक समय ही भोजन करना चाहिये.

सोमवार व्रत में क्या खाएं क्या नहीं – सोमवार का व्रत निर्जला नहीं होता. यानी आप इसमें फलाहार या सेंधा नमक युक्त भोजन खा सकते हैं. लेकिन व्रत में बार-बार भोजन या फल न खाएं. व्रत में लहसुन,प्याज, सादा नमक (सफेद नमक), धनिया पाउडर और मिर्च का सेवन भी नहीं करना चाहिए.
सोमवार व्रत की उद्यापन विधि- व्रत के आखिरी सोमवार को प्रात: काल उठकर स्नान आदि से निवृत्त होकर साफ वस्त्र धारण करें. पूजा स्थल को गंगाजल से अच्छी तरह शुद्ध कर लें, पूजा स्थल पर केले के 4 पत्ते खंबे के रूप में लगाकर चौकोर मंडप स्थापित करें. चारों तरफ फूल और आम के पत्तों से मंडप को सजाएं. पूजा चौकी को मंडप के बीचो-बीच रखकर इस पर सफेद रंग का साफ वस्त्र बिछाकर माता पार्वती और भगवान शिव की प्रतिमा स्थापित करें. इसके अतिरिक्त पूजा चौकी पर किसी अन्य पात्र में चंद्रमा को भी स्थापित करें और पूजा शुरू करें. पूजा में भगवान शिव और माता पार्वती पर फूल माला चढ़ाएं और पंचामृत का भोग लगाएं. साथ ही जल, दूध, दही, शहद, गंगाजल से शिवलिंग को स्नान कराएं. भगवान शिव को बेलपत्र, धतूरा और भांग चढ़ाकर आरती करें. घर और पूजा में उपस्थित सभी लोगों को प्रसाद का वितरण करें. पूजा के बाद स्वयं भोजन ग्रहण करें. ध्यान रहे उद्यापन वाले दिन आपको पूरे दिन में सिर्फ एक ही बार भोजन करना है और इस दिन यदि नमक का सेवन ना करें तो अति उत्तम होगा.

कर्क राशि के लिए मंत्र, Kark Rashi Ke Liye Mantra

1. ॐ चं चन्द्रमसे नम: या ॐ सों सोमाय नम: – सुख-शांति के लिए मंत्र
2. ॐ ऐं क्लीं श्रीं – धन लक्ष्मी के लिए
कर्क राशि के जातक सुबह जल्दी उठकर स्नान आदि से निवृत होकर साफ़ कपड़े धारण कर लें. अब वे पूजास्थल पर बैठ जाएं. मंत्र जाप करने के लिए घर के मंदिर में भगवान की पूजा करें. धुप-दीप आदि लगाएं इसके पश्चात् उपरोक्त मंत्र का जप कम से कम 108 बार करें.

कर्क राशि के लिए कौन सा पत्थर पहनना चाहिए?

कर्क राशि के लिए कौन सा रत्न/पत्थर पहनना चाहिए?, Kark Rashi Ke Liye Kaun Sa Patthar Pahanna Chaahie?, Kark Rashi Ke Liye Stone
कर्क राशि के स्वामी चंद्र है. चंद्रमा चेतावनी देने वाला ग्रह है. चंद्रमा को मजबूत करने के लिए कर्क राशि के जातकों को मोती धारण करना चाहिए. मोती रत्न चंद्र ग्रह का रत्न है इसलिए चंद्र ग्रह को बल प्रदान करने के लिए मोती रत्न/पत्थर पहना जाता है. मोती समुद्र से सीप के मुंह से प्राप्त होता है. ज्योतिषशास्त्र में सफेद मोती को सबसे उत्तम माना जाता है. कर्क राशि के जातक यदि सफेद मोती रत्न/पत्थर धारण करते हैं, तो इससे इनको काफी लाभ होता है. कर्क राशि के लोगों को सोमवार सुबह स्नान करने के बाद दायें हाथ की अनामिका या कनिष्का उंगली में मोती धारण करना चाहिए.
मोती पहनने के लाभ और नुकसान – कर्क राशि के जातकों को मोती पहनने से लाभ होता है. मोती समुद्र से सीप के मुंह से मिलता है. इसे धारण करने से मानसिक शांति, अच्छा स्वास्थ्य, विभिन्न सुख-सुविधाएं और लंबी आयु प्राप्त होती है. यह रत्‍न मन के विचारों को नियंत्रित कर उसे शांति प्रदान करता है. लेकिन ध्यान रहे कि व्यक्ति को अपनी राशिनुसार मोती रत्न/पत्थर को धारण करना चाहिए नहीं तो आपको इसका नुकसान झेलना पड़ सकता है. लाल किताब के अनुसार यदि कुंडली में चंद्र 12वें या 10वें घर में है तो मोती नहीं पहनना चाहिए. यह भी कहा गया है कि शुक्र, बुध, शनि की राशियों वालों को भी मोती धारण नहीं करना चाहिए. अत्यधिक भावुक लोगों और क्रोधी लोगों को मोती नहीं पहनना चाहिए.
कर्क राशि के जातक कौन सा रत्न/पत्थर धारण न करें- कर्क राशि के जातक को सलाह दी जाती है कि वह मू्ंगा धारण ना करें.

कर्क राशि के उपाय, Kark Rashi Ke Upaay

आज हम आपको कर्क राशि के जातकों के लिए कुछ ज्योतिषिय उपाय बताने जा रहे हैं, जिसे करने से इस राशि वालों की किस्मत चमक जाएगी. साथ ही इन्हें हर कार्यों में सफलता मिलने लगेगी. आइए जानते हैं वो क्या उपाय है?
1. कर्क राशि वाले जातक 9 आर्टिफिशियल मछली पीली रंग की एक्वेरियम में घर के उत्तर-पूर्व कोने में रख दें. ऐसा करने से आर्थिक स्थिति मजबूत होगी और खर्चों में हुई वृद्धि से कोई समस्या नहीं होगी.
2. कर्क राशि के जातक शाम को पूर्व की ओर मुख करके तिल के तेल का दीपक हनुमान जी को दिखाने से कर्ज से छुटकारा मिलेगा और समस्त परेशानियां दूर होंगी.
3. सुखी जीवन के लिये कर्क राशि के जातक अपने घर में पूरे शिव परिवार की स्थापना करें, अकेले शिवलिंग कभी न रखें.
4. लाल या गुलाबी कपड़े पहन कर महिलाएं कनकधारा स्रोत का पाठ करें, इससे उनके जीवन में सुख शांति आएगी.
5. यदि कर्क राशि वाले जातक को स्वास्थ संबंधी समस्या हो रही है तो उन्हें चांदी का चंद्रमा शिव जी के ऊपर चढ़ाना चाहिए.
6. रोग-दोष से मुक्ति के लिए गुरुवार के दिन पीले वस्त्र पहनकर पूजा करना चाहिए और माथे पर केसर का तिलक लगाना चाहिए. ऐसा करने से सारे रोग-दोष समाप्त हो जाते हैं.
7. शुभ फल की प्राप्ति के लिए कर्क राशि के लोग सोमवार को शिव-पार्वती को खीर का भोग लगायें.
8. गौरी शंकर रुद्राक्ष धारण करने से भी लाभ मिलता है.
9. मनोकामना पूर्ति के लिए कर्क राशि के लोग लाल फूलों से शिव जी की पूजा करें.
10. सोमवार का उपवास करना, सोलह सोमवार का व्रत या फिर सत्यनारायण, शिव दत्तात्रय या गणेश जी की पूजा भी कर्क राशि के लोगों का दुख दूर करने और अच्छे दिन लाने में लाभदायक रहेगी.
11. दुखों के निवारण के लिए ॐ श्रां श्रीं श्रौं सः चंद्रमसे नमः मंत्र का 11,000 जाप करना भी सहायक रहता है.
12. कर्क राशि के जातक यदि किसी प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी कर रहे हैं और सफलता पाने के लिए प्रत्येक सोमवार के दिन शिव जी का गंगा जल से अभिषेक करें. ऐसा करने से शिक्षा क्षेत्र में आपको सफलता मिलेगी.

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